दोहे - सावन में शिव भक्ति

■ सावन आया सावन मास है , मंदिर लगी कतार । भक्त डूबते भक्ति में, गूँज रही जयकार ।। लिंग रूप भगवान का, पूजन करते भक्त । कर दर्शन शिवलिंग के, हुआ हृदय अनुरक्त । ओघड़दानी देव शिव, बाबा भोलेनाथ । जपें नाम सब आपका, जोड़े दोनों हाथ ।। करो कृपा मुझ दीन पर, हे शिव गौरीनाथ । हर लो दुख संताप प्रभु, सर पर रख दो हाथ ।। बम बम भोले बोलकर, भक्त करें जयकार । विधिवत व्रत पूजन करें, मिलती खुशी अपार ।। ■ काँवड काँधे में काँवड सजे, होंठों मे शिव नाम । शिव शंकर की भक्ति से, बनते बिगड़े काम ।। काँवड़िया काँवड़ लिये, चलते नंगे पाँव । बम बम के जयघोष से, गूँज रहे हैं गाँव ।। काँधे पर काँवड़ लिये, भक्त चले हरिद्वार । काँवड़ गंगाजल भरे, चले शंभु के द्वार ।। काँवड़िया काँवड़ लिए , गाते शिव के गीत । जीवन उनका धन्य है, शिव से जिनको प्रीत ।। सादर अभिनंदन🙏🙏 पढ़िये भगवान शिव पर आधारित कुण्डलिया छंद निम्न लिंक पर ● हरते सबके कष्ट सदाशिव भोले शंकर
मित्रों से भी विनय करती सोनल
जवाब देंहटाएंआप भी रखना छत पर थोड़ा जल ।
प्रेरित करती हुई पंक्तियाँ।
हृदयतल से आभार संजय जी !
हटाएंआपकी लिखी रचना "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" आज सोमवार 24 फरवरी 2020 को साझा की गई है...... "सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" पर आप भी आइएगा....धन्यवाद!
जवाब देंहटाएंबहुत बहुत धन्यवाद यशोदा जी !
जवाब देंहटाएंसादर आभार....।
सुधा जी आपकी लिखी रचना को मेरी धरोहर ब्लॉग पर 24 फरवरी 2020 को साझा की गई है
जवाब देंहटाएंसदर
मेरी धरोहर
सहृदय धन्यवाद संजय जी !
हटाएंसादर आभार।
बहुत ही सुंदर व प्यारी सी रचना, जो पाठकों को मंत्रमुग्ध कर रही है। बहुत-बहुत शुभकामनाएँ आदरणीया ।
जवाब देंहटाएंहार्दिक धन्यवाद, पुरुषोत्तम जी !
हटाएंसादर आभार।
बहुत प्रेरणा दायक बाल कविता।
जवाब देंहटाएंबच्चों के साथ बड़े भी इन संवेदनाओं पर ध्यान रखें तो सब कुछ अच्छा हो सकता है ।
सुंदर सृजन सुधा जी।
तहेदिल से धन्यवाद कुसुम जी!
हटाएंसादर आभार।
बहुत प्यारी रचना । नन्हीं सोनल के माध्यम से अच्छी प्रेरणा देती सुंदर रचना ।
जवाब देंहटाएंसहृदय धन्यवाद एवं आभार आ.संगीता जी!
हटाएंबहुत सुंदर प्रेरणादायक रचना, सुधा दी।
जवाब देंहटाएंसहृदय धन्यवाद एवं आभार ज्योति जी!
हटाएंप्रकृति की व्यथा
जवाब देंहटाएंचिड़िये की कथा।
हार्दिक धन्यवाद एवं आभार आ.विश्वमोहन जी!
हटाएंवाह!बहुत खूबसूरत ,प्रेरणादायक सृजन सुधा जी ।
जवाब देंहटाएंसहृदय धन्यवाद एवं आभार शुभा जी!
हटाएंबहुत अच्छी लगी,अच्छी बातें सिखाती यह कविता ।
जवाब देंहटाएंसुधा जी,अभिनंदन ।
हार्दिक धन्यवाद एवं आभार नुपुरं जी!
जवाब देंहटाएंबहुत खूबसूरत
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